फतेहपुर। 69000 सहायक अध्यापक भर्ती परीक्षा में उत्तीर्ण हुए एससीएसटी व ओबीसी अभ्यर्थियों के चयन में की जा रही अनदेखी पर शुक्रवार को आजाद समाज पार्टी के पदाधिकारियों ने जुलूस निकालकर प्रदेश सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। तत्पश्चात राष्ट्रपति को सम्बोधित एक ज्ञापन एसडीएम को सौंपकर आरक्षण नियमों का सही से अनुपालन सुनिश्चित कराये जाने की मांग की।
आजाद समाज पार्टी के जिलाध्यक्ष उपेन्द्र कुमार की अगुवई में पदाधिकारी लाला बाजार मैदान में एकत्र हुए। जहां से पार्टी के झण्डे व बैनर लेकर नारेबाजी करते हुए कलेक्ट्रेट के लिए जुलूस की शक्ल में रवाना हुए। कलेक्ट्रेट पहुंचकर राष्ट्रपति को सम्बोधित ज्ञापन उप जिलाधिकारी को सौंपकर बताया कि उत्तर प्रदेश बेसिक शिक्षा परिषद द्वारा संचालित परिषदीय प्राथमिक विद्यालयों में सहायक अध्यापकों के कुल 69000 पदों पर भर्ती की अधिसूचना एक दिसम्बर 2018 को विज्ञापन प्रकाशित करके की गयी थी। जिसकी लिखित परीक्षा छह जनवरी 2019 को सम्पन्न करायी गयी। बताया कि इस भर्ती प्रक्रिया में आरक्षण के नियमों के बड़े पैमाने पर अवहेलना की गयी। ओबीसी वर्ग को 27 प्रतिशत आरक्षण की जगह इस भर्ती में मात्र 3.86 प्रतिशत आरक्षण मिला है और इसी तरह अनुसूचित जाति वर्ग को इस भर्ती में 21 प्रतिशत आरक्षण की जगह मात्र 16 प्रतिशत आरक्षण प्राप्त हुआ है। बताया कि राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग ने इसे संज्ञान में लेते हुए प्रदेश के सभी 75 जनपदों के बेसिक शिक्षा अधिकारियों, एनसीआरटी कार्यालय प्रयागराज एवं लखनऊ सचिव स्तर के सभी प्रमुख बेसिक शिक्षा अधिकारियों को बुलाकर अंतरिम रिकार्ड तैयार किया जिसमें आरक्षण नियमों के साथ धांधली का खुलासा हुआ। इस अंतरिम रिपोर्ट को सरकार के पास भेजते हुए आयोग ने सरकार से इस संबंध में 15 दिन के भीतर अपना पक्ष रखने को कहा। इसके बावजूद एक महीना बीत जाने के बाद भी सरकार ने इस अंतरिम रिपोर्ट पर कोई जवाब नहीं दिया। ऐसे हालातों में न्याय न मिलता देख 55 अभ्यर्थियों ने राज्यपाल से इच्छामृत्यु की मांग की है। जो अत्यंत पीड़ादायक है। राष्ट्रपति से मांग की गयी कि भर्ती मामले में आरक्षण नियमों का सही से अनुपालन सुनिश्चित कराया जाये जिससे आरक्षित वर्ग के छात्रों का भविष्य अधर में न लटके। इस मौके पर संजय वर्मा, प्रेमचन्द्र गौतम, विनोद गौतम, अजय गौतम, रामनरेश गौतम, बृजेश गौतम, आशीष गौतम, अमित गौतम, शुभम, सुशील वर्मा आदि मौजूद रहे।